कोरोना के संभावित तीसरी लहर के बीच उत्तर प्रदेश और केरल में एक अन्य कहर देखने को मिल रहा है। उत्तर प्रदेश में जहां संदिग्ध बुखार से सौ बच्चों की मौत की खबर सामने आई। वहीं, केरल (Kerala) में निपाह वायरस (Nipah Virus) से एक 12 साल के बच्चे की मौत का मामला सामने आया है। जिसके बाद केंद्र सरकार हरकत में आ गई है। बताया जा रहा है कि 12 वर्षिय बच्चे की मौत की जांच करने केंद्रीय टीम केरल पहुंची चुकी है। इधर केरल सरकार ने कन्नूर और मलप्पुरम जिलों के प्रशासन को सचेत किया है। उन्हें अतिरिक्त सावधानी बरतने को कहा गया है। केंद्र सरकार ने भी खास तौर पर मलप्पुरम प्रशासन को सतर्क रहने को कहा है। बच्चे के संपर्क में आए सभी लोगों की जांच करने को कहा है।
गौरतलब हो कि निपाह वायरस भी कोरोना की तरह चमगादड़ (Bat) से ही फैलता है। देश में इसका पहला मामला केरल के कोझिकोड (Kozhikode) में ही मई 2018 में सामने आया था। उस साल जून के महीने की शुरुआत तक ही 18 मामले सामने आ गए थे। इनमें 17 लोगों की मौत हो गई थी। अब एक बार फिर से राज्य में कहर देखते हुए केंद्रीय टीम सतर्क है और मामले की जांच के लिए पहुंच चुकी है।
पहला मामला आते ही राज्य की स्वास्थ्य मंत्री वीणा जॉर्ज (Veena George) ने रविवार को बताया कि बच्चे के नमूने राष्ट्रीय विषाणु विज्ञान (एनआईवी), पुणे भेजा गया था। वहां से उसके खून में निपाह वायरस मिलने की पुष्टि हुई है। निपाह वायरस से मौत का मामला सामने आने के बाद केंद्र सरकार के विशेषज्ञों की एक टीम रविवार को ही केरल पहुंच गई है। उधर, जॉर्ज ने बताया कि जो लोग बच्चे के संपर्क में रहे, उन सबको अलग-थलग कर निगरानी में रखा जा रहा है। अब तक किसी में भी निपाह के लक्षण नजर नहीं आए हैं। चिंता की बात नहीं है। विभाग मामले पर नजर रखे हुए है।
राज्य की स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि बच्चे को चार दिन पहले बहुत तेज बुखार आया था। उसी समय उसे अस्पताल में दाखिल कराया गया। शनिवार को उसकी तबीयत ज्यादा बिगड़ गई। शनिवार रात ही एनआईवी की ओर से पुष्टि की गई कि वह निपाह से संक्रमित है। इस बारे में आगे कुछ किया जाता, उससे पहले ही रविवार सुबह उसका निधन हो गया। खबर आ रही है कि बच्चे को पहले निजी, फिर इसके बाद सरकारी अस्पताल ले जाया गया था। लिहाजा स्वास्थ्य विभाग की टीमों ने बच्चे के परिजनों सहित उसके संपर्क में आए दोनों अस्पतालों के स्टाफकर्मियों की पहचान की है। उन्हें अलग रखकर निगरानी की जा रही है। पुलिस ने कोझिकोड स्थित बच्चे के घर के आसपास तीन किलोमीटर के दायरे में सुरक्षा घेरा बनाया है।