Published on September 29, 2021 9:06 pm by MaiBihar Media

बिहार को विशेष दर्जे की मांग पर जेडीयू नेता विजेंद्र ने यू-टर्न का बयान देकर सियासत को गरमा दिया था। हालांकि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने फिर से स्पष्ट कर दिया है कि वो अपनी मांग पर कायम हैं। मालूम हो कि मुख्यमंत्री बुधवार को विधानमंडल परिसर में पत्रकारों से बात कर रहे थे। जाति आधारित जनगणना पर नीतीश ने कहा कि दिल्ली में तो हमने अपनी बात रख दी है। यहां हम सर्वदलीय बैठक बुलाएंगे। आपस में बात करेंगे। उसके बाद आगे का निर्णय लेंगे।

बिहार के विशेष दर्जा की मांग पर आज भी कायम है मुख्यमंत्री

उन्होंने कहा कि बिहार विशेष दर्जे की अपनी मांग पर कायम है। हमने विशेष राज्य के दर्जे की मांग की थी आगे भी करेंगे। हमने अपनी मांग नहीं छोड़ी है। केंद्र सरकार को इस पर निर्णय लेना है। विशेष राज्य के मुद्दे पर केंद्र सरकार ने एक कमिटी भी गठित की थी। लेकिन जो भी निर्णय लेना है वो भारत सरकार को लेना है। जहां गरीबी है, वहां सहायता देने का प्रावधान है। पर, हमारी मांग आगे भी जारी रहेगी। विशेष दर्जा की मांग छोड़ने के सवाल पर कहा कि मंत्री विजेन्द्र यादव ने अपनी बात कही है। उन्होंने कहा था कि विशेष राज्य की बार-बार मांग करते-करते थक गये हैं। इसलिए अब विशेष सहायता की मांग करेंगे।

तेजस्वी के पत्र पर भी दी प्रतिक्रिया

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तेजस्वी द्वारा बाढ़ के मुद्दे पर लिखे गए पत्र के संदर्भ में पत्रकारों द्वारा सवाल पूछे जाने पर उन्होंने पत्र मिलने की बात को खारिज कर दिया। कहा कि हमें तो कोई पत्र नहीं मिला है, वो पत्र भेजेंगे तब न मिलेगा। वो सिर्फ मीडिया में पत्र लिखते हैं। नीतीश ने कहा कि बाढ़ को लेकर हमने कितना काम किया है, यह कहने वाली बात है। एक-एक काम किया जा रहा है। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पीड़ितों की हर तरह की मदद कर रहे हैं। केंद्रीय टीम भी आकर मुआयना कर गई है। केंद्र हर राज्यों को आपदा के दौरान मदद करती है। उसी आधार पर यहां भी मदद मिलती है।

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तेजस्वी ने सीएम को भेजे पत्र में क्या लिखा

आपको बता दें कि तेजस्वी यादव ने आज सुबह-सुबह ट्वीट कर जानकारी दिया था कि उन्होंने मुख्यमंत्री को पत्र लिखा है।उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा था कि माननीय मुख्यमंत्री से व्यापक जनहित में मांग है कि बिहार में प्रतिवर्ष बाढ़ और सुखाड़ की विभीषिका के कारण होने वाले नुकसान एवं नदी जोड़ने की योजना के महत्व के संदर्भ में राज्यहित में उनके नेतृत्व में एक सर्वदलीय प्रतिनिधि मंडल मा॰ प्रधानमंत्री से मिलकर उपर्युक्त उचित माँगों को रखे। बता दें कि इसके साथ ही तेजस्वी ने वह पत्र भी शेयर किया है, जो मुख्यमंत्री को भेजा है।

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इसके आलावा तेजस्वी यादव ने भाजपा पर भी सुबह-सुबह निशाना साधा था। तेजस्वी यादव ने जातीय जनगणना पर कहा था कि बहुत बड़े वंचित वर्ग के लिए गंभीर चिंता की बात है कि केंद्र ने सर्वोच्च न्यायालय में हलफनामा प्रस्तुत कर कह दिया है कि 2021 में जातीय जनगणना “संभव नहीं होगी”। इस प्रकार केंद्र सरकार ने पूरे भारत की सामूहिक मांग को खारिज़ कर दिया। BJP का दोहरापन, वादाखिलाफ़ी और नौटंकी उजागर हुई।

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