Published on August 24, 2021 4:13 pm by MaiBihar Media
जम्मू कश्मीर के आतंकी कनेक्शन मामले में एटीएस एवं एनआइए की टीम ने गुरुवार की सुबह सारण स्थित मढ़ौरा थाना क्षेत्र के देव बहुआरा पट्टी गांव में छापेमारी की। इस दौरान टीम को बड़ी कामयाबी हासिल हुई। टीम ने नईमुद्दीन अंसारी के 20 वर्षीय पुत्र अरमान को गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार आरोपी से एनआइए व एटीएस की टीम मढ़ौरा थाने में सघन पूछताछ कर रही है। पूछताछ के दौरान अरमान द्वारा कई महत्वपूर्ण जानकारियां दी गई है। जिसको लेकर एनआईए छानबिन में जुटी हुई है।
दरअसल, अरमान को इस बाबत गवाही देने के लिए जम्मू-कश्मीर कोर्ट से नोटिस भेजा गया था, लेकिन अरमान उस नोटिस के एवज में गवाही देने के लिए नहीं पहुंचा। इसके बाद एनआइए व एटीएस की टीम अरमान को गिरफ्तार करने के लिए मढ़ौरा थाना क्षेत्र के देव बहुआरा पट्टी गांव पहुंची। टीम ने स्थानीय पुलिस के सहयोग से गुरुवार की सुबह में अरमान को उसके घर से गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तारी के बाद अरमान ने पुलिस को बताया कि उसे जावेद ने एक बैग दिया था, जिसे उनके द्वारा बताए गए पता पर उसे पहुंचा देना था। इसके एवज में उसे दस हजार रुपये भी मिले थे। इसके बाद बताया कि बैग में क्या था इसकी जानकारी उसे नहीं है। वह बैग को बताए गए पते पर पहुंचा दिया था। उसने बैंग को खोल कर नहीं देखा था।
घरवालों ने फंसाने के लगाया आरोप
फिलहाल मामले में एटीएस की टीम गिरफ्तार अरमान से अन्य कई बिंदुओं पर भी सघन पूछताछ कर रही है। उसके परिवार वालों से भी एटीएस की टीम तहकीकात कर रही है। अरमान की गिरफ्तारी के बाद गांव में कई तरह की चर्चाएं हो रही हैं। वहीं आतंकी कनेक्शन को लेकर लोग काफी सकते में भी हैं। अरमान को लेकर देव बहुआरा पट्टी गांव के आतंकी कनेक्शन मामले में अब तक तीन लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है। हालांकि जावेद के रिटायर्ड शिक्षक पिता ने पहले ही कहा था कि उनके पुत्र को बेवजह फंसाया जा रहा है।
जांच में जुटी एनआईए और एटीएस
वहीं, सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक मढ़ौरा थाना क्षेत्र के देव बहुआरा पट्टी गांव निवासी रिटायर शिक्षक के पुत्र जावेद को उसके भाई के साथ एटीएस की टीम ने इसी वर्ष 16 फरवरी को गिरफ्तार किया था। गिरफ्तारी के बाद जावेद से जब सघन पूछताछ की गई तो उसने कई जानकारियां दी। जावेद की गिरफ्तारी बिहार से आतंकियों को पिस्टल सप्लाई करने के मामले में हुई थी। पुलिसिया पूछताछ के दौरान जावेद ने बताया था कि दो माह पूर्व उसने 20 वर्षीय अरमान को एक बैग संभावित ठिकाने पर पहुंचाने के लिए दिया गया था। इसके बाद एनआइए व एटीएस की टीम अरमान की तलाश में जुट गई।
क्या था मामला?
मिली जानकारी के मुताबिक जम्मू कश्मीर के डीजीपी ने फरवरी में खुलासा किया था कि पंजाब से गिरफ्तार मुश्ताक सहित पंजाब में पढ़ने वाले कुछ कश्मीरी छात्रों का इस्तेमाल आतंकी कर रहे थे। ताकि अवैध हथियारों को घाटी तक लाया जा सके। डीजीपी ने यह खुलासा स्वयंभू प्रमुख कमांडर हिदायतुल्ला मलिक और जहूर अहमद राथर की गिरफ्तारी के बाद किया था। बिहार से आतंकियों को 7 पिस्टल भेजे जाने की बात सामने आयी थी। पुलिस को शक था कि जावेद के द्वारा ही पिस्टल मुहैया कराया गया था। एटीएस और पुलिस की अन्य एजेंसियां जांच-पड़ताल में लगी हुई थी। इसी के बाद अब अरमान की गिरफ्तार हुई है।