Published on September 7, 2021 9:38 pm by MaiBihar Media
पंचायत चुनाव (Panchayat Election) के मद्देनजर राज्य निर्वाचन आयोग ने एक और जानकारी साझा की है। आयोग ने बताया है कि वोटिंग के दिन अलग-अलग प्रखंडों में तैनात ऑब्जवर (Observer) जारी दिशा-निर्देश को प्रभावी ढंग से लागू कराएंगे। इस बाबत आयोग ने कहा है कि ऑब्जर्वर अपने दौरे को पूरी तरह गोपनीय रखेंगे और संबंधित जिला के डीएम को भी इसकी जानकारी देने की जरूरत नहीं होगी। उन्हें अधिक से अधिक बूथ को कवर करना है। बता दें कि राज्य निर्वाचन आयोग ने पंचायत चुनाव के मद्देनजर 170 आब्जर्वर की तैनाती की है। इन्हें दो चरणों में ब्रीफ किया जा रहा है। दूसरे चरण में 10 सितंबर को शेष आब्जर्वरों की ब्रीफिंग होगी।
गौरतलब हो कि यह हजानकारी तब सामने आई जब आयोग ने आब्जर्वरों चुनाव से जुड़े उनके काम-काज को लेकर भी जानकारी दी। उन्हें बताया गया कि फील्ड में उन्हें कैसे काम करना है। उन्हें बताया गया कि इस बार के चुनाव में उन्हें प्रत्याशियों के मित्रों एवं संबंधियों के साथ उनके समर्थकों द्वारा किए जा रहे खर्च पर भी पैनी नजर रखनी है। आब्जर्वरों को अगर लगता है कि किसी प्रत्याशी के दोस्त-मित्र या रिश्तेदार चुनाव में वोटरों को प्रभावित करने के लिए पैसा या सामान बांट रहे हैं तो वे इसकी रिपोर्ट आयोग को भेजेंगे। आब्जर्वर मतदान दल के कर्मियों की ट्रेनिंग, बैलेट बॉक्स, ईवीएम एवं मतदान सामाग्री की व्यवस्था पर नजर रखेंगे। पीठासीन पदाधिकारी एवं वोटरों से बाचतीच कर यह पता लगाएंगे कि मतदान सही ढंग से चल रहा है या नहीं। मतदान केन्द्र पर कब्जा किए जाने अथवा अन्य गंभीर अनियमितता सामने आने पर आब्जर्वर अविलंब इसकी सूचना निर्वाची पदाधिकारी, जिला निर्वाचन पदाधिकारी(पंचायत) तथा राज्य निर्वाचन आयोग (State Election Commission) को देंगे।
साथ ही मतदान केन्द्रों पर की गई व्यवस्था, सशस्त्र बल एवं मैजिस्ट्रेट की प्रतिनियुक्ति, मतदान समाप्त होने के 48 घंटे पहले चुनाव प्रचार रोके जाने पर भी नजर रखेंगे। इसके अलावा अवैध शराब की बिक्री एवं उसका उपयोग रोके जाने एवं अन्य संबंधित मामलों की भी समीक्षा कर सकेंगे। आब्जर्वर मतदान कर्मियों से सवाल पूछकर उन्हें मतदान संचालन संबंधी नियमों की जानकारी होने का भी पता कर सकेंगे। आब्जर्वर वोटिंग के दिन अपने दौरे के कार्यक्रम को गुप्त रखेंगे तथा इसकी पूरी जानकारी जिला निर्वाचन पदाधिकारी व निर्वाची पदाधिकारी को भी देने की आवश्यकता नहीं होगी। वे अधिकतम मतदान केन्द्रों का भ्रमण करेंगे।